ग्राम प्रधान ढुरवई सहित सहायक विकास अधिकारी पंचायत व केयरटेकर पर पशु क्रूरता का मुकदमा दर्ज
गर्मी के दृष्टिगत अधिकारी गौशाला एवं गौआश्रय स्थल पर पेयजल,भूसा और छांव की व्यवस्थाओं को सुनिश्चित करें
झांसी। जिलाधिकारी रविंद्र कुमार ने निर्देश देते हुए कहा कि गो आश्रय स्थल में किसी भी तरह की अनियमिताएं अथवा गड़बड़ी को बर्दाश्त नहीं की जाएगी। पशुओं के प्रति क्रूरता अधिनियम 1960 के अंतर्गत होगी सख्त कार्यवाही।
जिलाधिकारी के निर्देश पर विकासखंड गुरसराय के ग्राम ढुरवई टोड़ीफतेहपुर गोआश्रय स्थल की जांच उप जिलाधिकारी द्वारा कराए जाने पर गो आश्रय स्थल में धन के दुरुपयोग के साथ ही रजिस्टर के अनुसार गोवंश नहीं पाए जाने पर ग्राम प्रधान ढुरवई एवं गो सेवक ढुरवई के विरुद्ध एफआईआर करते हुए मुकदमा दर्ज कराया गया। गौशालाओं में भूसे की कमी के कारण गौवंश भूखे होने पर संबंधित के विरुद्ध पशु क्रुरता निवारण अधिनियम के अंतर्गत वैधानिक कार्यवाही की जाएगी।
खण्ड विकास अधिकारी गुरसराय ने 11 मई थानाध्यक्ष थाना टोड़ीफतेहपुर विकास खण्ड गुरसराय अवगत कराते हुए बताया कि 09 मई को उपजिलाधिकारी टहरौली द्वारा सांय 06 बजे गौवंश आश्रय स्थल दुरवई का निरीक्षण किया गया। निरीक्षण के समय एक भी गौवंश नही मिला। 10 मई को उपमुख्य पशु चिकित्साधिकारी द्वारा समय दोपहर 02.36 पर निरीक्षण किया गया जिसमें गौवंश की संख्या 41 पायी गयी। जबकि अभिलेख के अनुसार 80 गौवंश होने चाहिये थे। जिसमें से 65 की टेगिंग स्वंय उपमुख्य चिकित्साधिकारी ने करायी थी । जिसमें उनके निरीक्षण में कोई भी टैग वाला गौवंश नही पाया गया। इससे स्पष्ट है कि ग्राम प्रधान / गौपालक द्वारा गौशाला के टैगिंग किये हुये गौवंश को पुनः निराश्रित करते हुये उनके हाल पर छोड़ दिया गया है। इस प्रकार यह कृत्य, टैगिंग किये गये संरक्षित गौवंश को उनके हाल पर गौशाला के बाहर निकाल देना, निराश्रित पशुओं के प्रति क्रूरता का परिचायक है। इस पर सुसंगत धाराओं मे अभियोग पंजीकृत कर आवश्यक कार्यावाही करें। ग्राम प्रधान ढुरवई परशुराम, गौसेवक किशोरीलाल पुत्र बुध्दे एवं गंगादीन पुत्र सुम्मेर के विरुद्ध अभियोग पंजीकृत किया गया।
जिलाधिकारी ने स्पष्ट निर्देश देते हुए कहा कि जनपद की समस्त गो आश्रय स्थलों का गंभीरतापूर्वक निरीक्षण किया जाए ताकि अनियमितता को रोका जा सके। उन्होंने यह भी निर्देश दिए की भविष्य में यदि गो आश्रय स्थल में उपलब्ध धनराशि का दुरुपयोग किया जाता है तो संबंधित के विरुद्ध सख्ततम कार्यवाही अमल में लाई जाएगी।