यात्रीगण कृपया ध्यान दें : आज से 15 अक्टूबर तक 39 ट्रेनें रहेंगी निरस्त

वाराणसी से नहीं चलेंगी ये 14 ट्रेनें, जाने कारण

वाराणसी (संवाद सूत्र)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी के कैंट रेलवे स्टेशन की 30 साल बाद पांच सौ करोड़ से तस्वीर बदलने जा रही है। इसकी शुरुआत आज सोमवार से हो गयी है। 45 दिनों में 150 योजनाओं को पूरा कर कैंट रेलवे स्टेशन तकनीकी और आधुनिक तौर पर तैयार हो जाएगा।इन योजनाओं के पूरा होने के बाद कैंट रेलवे स्टेशन पर ट्रेनों को प्लेटफार्म मिलने में देरी नहीं होगी,जिससे यात्रियों की यात्रा सुखद होगी।वहीं अगर ट्रेनों के संचालन की बात करें तो आज सोमवार से 15 अक्टूबर तक लगभग आधा दर्जन ट्रेनें कैंट रेलवे स्टेशन से संचालित नहीं होगी।ये ट्रेने अन्य स्टेशनों से चलेंगी।

 

बेगमपुरा एक्सप्रेस 11 सितंबर से 16 अक्टूबर तक सुल्तानपुर से प्रस्थान और समाप्त होगी।काशी महाकाल एक्सप्रेस 12, 14, 19, 21, 26, 28 सितंबर और 3,5,10 व 12 अक्टूबर को सुल्तानपुर से प्रस्थान और समाप्त होगी। वाराणसी-अहमदाबाद साप्ताहिक एक्सप्रेस 16, 23, 30 सितंबर, 7,14 अक्टूबर को सुल्तानपुर तक आएगी और जाएगी।लखनऊ जाने वाली शटल (वरुणा) सुपरफास्ट एक्सप्रेस 11 सितंबर से 16 अक्टूबर तक शिवपुर स्टेशन से आएगी और जाएगी।मरुधर एक्सप्रेस 11 सितंबर से 15 अक्टूबर तक लखनऊ से प्रस्थान और समाप्त होगी। वाराणसी स्टेशन लखनऊ इंटरसिटी एक्सप्रेस का संचालन 20 सितंबर से 15 अक्टूबर तक लोहता स्टेशन से किया जाएगा।

 

एडीआरएम लाल जी चौधरी ने बताया कि 568 करोड़ रुपये का यह प्रोजेक्ट है, जिसमें 150 परियोजनाएं हैं।इन परियोजनाओं के तहत बनारस के कैंट रेलवे स्टेशन की तस्वीर को बदला जाएगा।साल 1994 के बाद कैंट स्टेशन के स्वरूप बदलने की शुरुआत हो गयी है।इस प्रक्रिया को पूरा करने से यात्रियों को बहुत लाभ मिलने वाला है।

 

लाल जी चौधरी ने बताया कि यहां पर प्लेटफॉर्म बढ़कर 9 से 11 हो जाएंगे।इसके साथ ही प्लेटफॉर्म की लेंथ अभी तीन है जोकि 11 हो जाएगी।वहीं रनिंग लाइन इस समय हमारे पास 12 हैं जोकि बढ़कर 15 हो जाएंगी।अभी जो थ्रोगुड्स हैं,उनके लिए हमारे पास केवल 2 लाइनें हैं, ये बढ़कर 6 हो जाएंगी।स्टेशन पर वाशिंग लाइनों की संख्या चार है जोकि बढ़कर 8 हो जाएंगी।इन 45 दिनों तक 39 जोड़ी ट्रेनें निरस्त कर दी जाएंगी।कहीं कुछ ट्रेने वाराणसी के अलग- अलग स्टेशनों से चलाई जाएंगी।इसके साथ ही 14 दूसरे स्टेशनों से चलाई जाएंगी।

 

बता दें कि पिछले एक दशक से कैंट रेलवे स्टेशन के विस्तारीकरण और रिमॉडलिंग की मांग हो रही थी।यार्ड छोटे और ट्रेन अधिक होने से कैंट रेलवे स्टेशन पर हररोज कम से कम 21 ट्रेन प्लेटफार्म तक आने में लेट हो जाती थी।ऐसे में इस बदलाव के बाद यात्रियों को इस परेशानी से निजात मिल जाएगी।

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