राम दरबार मंदिर में मनाया गया तुलसीदास जी का 527वा जन्मदिन

बांदा (अनिल शर्मा)। गोस्वामी तुलसीदास जी की 527वीं जयंती समारोह बड़े ही धूमधाम से श्री राम दरबार मन्दिर में मनाया गया। इस अवसर पर समारोह के मुख्यअतिथि डॉ चंद्रिका प्रसाद ललित ने कहा कि यदि गोस्वामी तुलसीदास जी द्वारा श्री राम चरित मानस की रचना न की होती तो श्री राम मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम विश्व में न जाने जाते उन्होंने सरल भाषा में लिख कर उसे विश्व का सबसे लोकप्रिय ग्रन्थ बना दिया और श्री राम को प्रभु श्रीराम।


मानस वक्ता भगवती प्रसाद मिश्र ने लंका में श्री राम रावण के युद्ध का सुन्दर प्रसंग रखा जिसे श्रोताओं ने बहुत सराहा। वरिष्ठ कवि जवाहर लाल जलज ने तुलसी के राम पर समसमायिक रचना प्रस्तुत किया। अवधेश द्विवेदी पखावज और उनके पौत्र अनमोल द्विवेदी एक साथ शास्त्री संगीत के माध्यम से सुन्दर प्रस्तुति। अशोक अवस्थी अरुण पुरवार ज्योत्सना पुरवार छाया सिंह ने भी अपने विचार रखे।


कविता पाठ करने वालो में डां भानुप्रताप सिंह ठाकुर दास पंछी मृदुल केवल प्रसाद द्विवेदी श्रीमती प्रभा निगम श्रीमती रीता गुप्ता ज्योति विश्वकर्मा दयाराम सहित अन्य 21 कवियो ने किया। सफल संचालन राजीव रंजन तिवारी ने किया उनकी कविताओं को बहुत पसंद किया गया। कवियों साहित्य कार मानस वक्ताओं पत्रकार उत्तम सक्सेना कलाकार सुधीर श्रीवास्तव सहित लगभग 48 लोगो को सम्मानित किया गया।

इस समारोह में श्री राम दरबार मन्दिर के जिन प्रमुख लोगों की सहभागिता रही उनमें सुरेन्द्र निगम हरीशंकर शुक्ला अशोक श्रीवास्तव राजेन्द्र दुबे भगवान दीन वर्मा प्रकाश चौबे नीरज त्रिपाठी धीरज सैनी सुनील त्रिपाठी शिवकुमार गुप्ता सबल सिंह सुरेंद्र सिंह बलबीर सिंह मुन्ना महंत निशा श्रीवास्तव सुमन बक्शी और श्री राम दरबार मन्दिर के पुजारी सुशील पांडेय आदि थे।

 

सर्व प्रथम गोस्वामी तुलसीदास के चित्र पर माल्यार्पण कर पूजन किया गया और अन्त में श्री राम चरित मानस की आरती के पश्चात कार्यक्रम का समापन हुआ। कार्यक्रम संयोजक अशोक त्रिपाठी जीतू ने सभी का आभार प्रकट किया तथा बीच बीच में संचालन भी किया।

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